तिरुवनंतपुरम: केरल के गवर्नमेंट वीमेंस कॉलेज के शोधकर्ताओं ने नारियल के छिलकों से हाई सरफेस एरिया एक्टिवेटेड कार्बन बनाने की नई विधि विकसित की है। इस अनूठी विधि के माध्यम से उन्होंने एक अद्वितीय सुपर कैपेसिटर का निर्माण किया है, जो वाणिज्यिक कैपेसिटरों से चार गुना अधिक ऊर्जा संग्रहित कर सकता है। इस शोध का महत्व अमेरिकन केमिकल सोसायटी की प्रतिष्ठित पत्रिका “सस्टेनेबल रिसोर्स मैनेजमेंट” में भी दर्ज किया गया है।

कॉलेज के फिजिक्स डिपार्टमेंट के डॉ. जेवियर टीएस के नेतृत्व में, यह शोध नारियल के छिलके से उत्पन्न सक्रिय कार्बन का उपयोग करते हुए माइक्रोवेव तकनीक से किया गया है। यह तकनीक सस्ती, शुद्ध और पर्यावरण मित्र है, जो उच्च गुणवत्ता वाले सुपर कैपेसिटर के निर्माण में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है। इस नवाचार से नारियल के छिलकों से प्राप्त कार्बन एक सुपर कैपेसिटर की तैयारी में चार गुना अधिक प्रभावी साबित हुआ है।
इस सुपर कैपेसिटर की विशेषताएँ
सुपर कैपेसिटर एक ऐसा उपकरण होता है जो छोटी जगह में बड़ी राशि में ऊर्जा संग्रहीत कर सकता है और इसे तेजी से उपयोग में ला सकता है। यह बिना पूरी तरह से खाली होने के पुराने के लंबे वक्त तक उपयोग किया जा सकता है। इसका उपयोग इलेक्ट्रिक कारों, इलेक्ट्रॉनिक उपकरणों और अक्षय ऊर्जा प्रणालियों में हो सकता है, जहां त्वरित ऊर्जा संग्रहण की आवश्यकता होती है।
शोध दल के मुख्य सदस्य मारिन टोमेई के अनुसार, नारियल के छिलकों से निकाले गए सक्रिय कार्बन का उपयोग कर उनके द्वारा विकसित सुपर कैपेसिटर में ऊर्जा संग्रहण की क्षमता में चार गुना वृद्धि दर्ज की गई है। इस अनुसंधान से नारियल के छिलकों से निकाले गए सक्रिय कार्बन की नई उपयोगिता और प्रभावित पर्यावरण मित्रता के कारण सुपर कैपेसिटर के लिए आदर्श इलेक्ट्रोड सामग्री की खोज एक महत्वपूर्ण कदम है।

Source- अमर उजाला ब्यूरो
#नारियल_के_छिलके #एक्टिवेटेड_कार्बन #सुपर_कैपेसिटर #केरल #वीमेंस_कॉलेज #माइक्रोवेव_तकनीक #पर्यावरण_मित्र #ऊर्जा_संग्रहण #अमेरिकन_केमिकल_सोसायटी #trendingpost
.
.
.
Created by Inflact Hashtags Generator